भारत द्वारा नियंत्रण रेखा यानी एलओसी पर सीजफायर उल्लंघन का आरोप लगाए जाने के बाद पाकिस्तान ने कहा है कि वह शांति और समझौते के लिए प्रतिबद्ध है। यह बयान तब आया जब नई दिल्ली ने आरोप लगाया कि पाकिस्तान ने समझौते के कुछ घंटों बाद ही इसका उल्लंघन किया।
भारतीय विदेश सचिव विक्रम मिसरी ने शनिवार रात को एक बयान में कहा, ‘पाकिस्तान की ओर से सीजफायर उल्लंघन की कई घटनाएं सामने आई हैं। हम इन उकसावे वाली कार्रवाइयों का जवाब दे रहे हैं और स्थिति पर नज़र रखे हुए हैं।’ भारत का कहना है कि पिछले कुछ हफ्तों में पाकिस्तानी सेना ने जम्मू-कश्मीर में एलओसी पर लगातार गोलीबारी की, जिसका भारतीय सेना ने मुंहतोड़ जवाब दिया।
दूसरी ओर, पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय ने एक बयान जारी कर कहा, ‘पाकिस्तान शांति और स्थिरता के लिए प्रतिबद्ध है। हम किसी भी तरह की तनावपूर्ण स्थिति से बचना चाहते हैं और भारत से बातचीत के ज़रिए मुद्दों को सुलझाने के पक्ष में हैं।’ पाकिस्तान ने यह भी दावा किया कि भारतीय सेना ने कई बार उकसावे वाली कार्रवाई की, जिसके जवाब में उनकी सेना को गोलीबारी करनी पड़ी। पिछले कुछ हफ्तों में एलओसी पर तनाव बढ़ा है।
पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ‘हम मानते हैं कि सीजफायर को सही से लागू करने में किसी भी समस्या को उचित स्तर पर संवाद के माध्यम से हल करना चाहिए। जमीन पर तैनात सैनिकों को भी संयम बरतना चाहिए।’
दोनों परमाणु हथियार संपन्न पड़ोसी देश उस समय सैन्य टकराव में उलझ गए जब भारत ने जम्मू-कश्मीर में 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले के जवाब में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ शुरू किया।
इससे पहले पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने भारत के साथ सीजफायर समझौते की सराहना की और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प को धन्यवाद दिया। उन्होंने एक्स पर लिखा, ‘हम राष्ट्रपति ट्रम्प के नेतृत्व और क्षेत्र में शांति के लिए उनकी सक्रिय भूमिका के लिए धन्यवाद देते हैं। पाकिस्तान संयुक्त राज्य अमेरिका की इस नतीजे पर पहुँचने में आसान बनाने की भूमिका की सराहना करता है, जिसे हमने क्षेत्रीय शांति और स्थिरता के हित में स्वीकार किया है।’
शरीफ ने आगे कहा, ‘हम उपराष्ट्रपति जेडी वेंस और विदेश मंत्री मार्को रुबियो को दक्षिण एशिया में शांति के लिए उनके मूल्यवान योगदान के लिए भी धन्यवाद देते हैं। पाकिस्तान का मानना है कि यह क्षेत्र को प्रभावित करने वाली समस्याओं के समाधान और शांति, समृद्धि और स्थिरता की दिशा में एक नई शुरुआत है।’
बाद में पाकिस्तानी जनता को संबोधित करते हुए शरीफ ने भारत के साथ बढ़े तनाव के दौरान समर्थन देने के लिए वैश्विक नेताओं और देशों के प्रति आभार व्यक्त किया। भविष्य के लिए उम्मीद जताते हुए शरीफ ने विश्वास जताया कि जल बंटवारे, कश्मीर और अन्य विवादास्पद मुद्दों का समाधान हो जाएगा।
इससे पहले शनिवार को भारत के विदेश सचिव विक्रम मिसरी ने कहा कि भारतीय सशस्त्र बल पाकिस्तान द्वारा किए गए सीजफायर उल्लंघनों का जवाब दे रहे हैं। उन्होंने कहा, ‘हम पाकिस्तान से इन उल्लंघनों को रोकने और स्थिति को गंभीरता और जिम्मेदारी के साथ संभालने के लिए उचित कदम उठाने का आह्वान करते हैं। सशस्त्र बल स्थिति पर कड़ी नजर रख रहे हैं और उन्हें अंतरराष्ट्रीय सीमा और एलओसी पर दोबारा उल्लंघन होने पर इससे कड़ाई से निपटने के सख्त निर्देश दिए गए हैं।’
पाकिस्तान ने अप्रैल और मई 2025 में लगातार कई दिनों तक सीजफायर का उल्लंघन किया। 27 अप्रैल को शुरू हुई गोलीबारी की घटनाओं ने दोनों देशों के बीच तनाव को और बढ़ा दिया। हालांकि, 10 मई को भारत और पाकिस्तान के बीच एक अस्थायी सीजफायर की घोषणा की गई, लेकिन इसके बावजूद उल्लंघन की ख़बरें सामने आईं।
भारत और पाकिस्तान के बीच 2003 में हुए सीजफायर समझौते को समय-समय पर उल्लंघन का सामना करना पड़ा है। दोनों देश एक-दूसरे पर उकसावे का आरोप लगाते रहे हैं। अंतरराष्ट्रीय समुदाय ने दोनों पक्षों से संयम बरतने और बातचीत के ज़रिए समाधान निकालने की अपील की है।