शनि का मीन राशि में गोचर: एस्ट्रोसेज एआई की हमेशा से यही पहल रही है कि किसी भी महत्वपूर्ण ज्योतिषीय घटना की नवीनतम अपडेट हम अपने रीडर्स को समय से पहले दे पाएं और इसी कड़ी में हम आपके लिए लेकर आए हैं शनि का मीन राशि में गोचर से संबंधित यह खास ब्लॉग।

29 मार्च, 2025 को रात 10 बजकर 07 मिनट पर शनि ग्रह मीन राशि में गोचर करेंगे। तो चलिए जानते हैं कि शनि के मीन राशि में प्रवेश करने पर किन राशियों के जातकों को नकारात्मक परिणाम प्राप्त होंगे और किन राशियों के लोगों को सकारात्मक परिणाम मिलने की संभावना है। बता दें कि वर्ष 2025 में जिस दिन सूर्य का मीन राशि में गोचर हो रहा है, उसी दिन सूर्य ग्रहण 2025 भी पड़ रहा है।
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वैदिक ज्योतिष में शनि ग्रह को अपने गंभीर या प्रतिबंधात्मक प्रभाव के लिए जाना जाता है। शनि देव कर्मों का कारक हैं जिनका संबंध कार्यों में देरी, अनुशासन, कड़ी मेहनत और अलगाव से होता है। शनि देव हमें जीवन के ऐसे पाठ सिखाते या सीख देते हैं, जो हमें मैच्योर बनने और व्यक्तिगत विकास की ओर आगे बढ़ने में मदद करते हैं। शनि की ऊर्जा सीमित करने वाली लग सकती है लेकिन जब शनि से मिलने वाली सीख को अपनाया जाता है, तो इससे जातक को स्थिर एवं लंबे समय तक चलने वाली सफलता और आत्म संयम प्राप्त करने का अवसर मिलता है।
शनि ग्रह प्रशासन, जिम्मेदारी और चुनौतियों का सामना कर दृढ़ रहने की क्षमता का प्रतिनिधित्व करते हैं। वह हमें वास्तविकता का सामना करने और अपने कार्यों की जिम्मेदारी लेने के लिए कहते हैं। इस ग्रह का संबंध सीमा और संरचना से भी है जैसे कि सामाजिक नियम, कानून या व्यक्तिगत सीमा का निर्माण करना।
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शनि का मीन राशि में गोचर: इन राशियों को होगा लाभ
वृषभ राशि
वृषभ राशि के नौवें और दसवें भाव के स्वामी शनि देव हैं और वृषभ राशि के लिए शनि एक अच्छा ग्रह है। अब शनि का मीन राशि में गोचर होने के दौरान वह आपके ग्यारहवें भाव में रहेंगे। इससे आपको कई तरह के लाभ मिलने के संकेत हैं। आपके अपने उच्च अधिकारियों के साथ संबंधों में सुधार आएगा और आपका सोशल नेटवर्क भी मज़बूत हो सकता है। इससे आपको जीवन के कई पहलुओं में सफलता मिलने के योग हैं। साथ ही आपको कई समस्याओं का समाधान करने में भी मदद मिलेगी। ग्यारहवें भाव में शनि का गोचर बहुत शुभ माना जाता है।
आपकी इच्छाओं की पूर्ति होगी और आप वरिष्ठों की सहायता से अपनी नौकरी में प्रगति कर सकते हैं। इसके अलावा आपको बिज़नेस में भी बड़ी सफलता मिलने के आसार हैं। लंबी दूरी की यात्रा आपके करियर के लिए लाभकारी सिद्ध होगी। आप अनुशासन में रहना पसंद करेंगे और आय का स्थायी स्रोत मिलने पर आपकी वित्तीय समस्याओं का अंत हो जाएगा। इससे आप अपने अधूरे कार्यों को पूरा करने में सक्षम होंगे।
मिथुन राशि
शनि का मीन राशि में गोचर होने पर शनि आपके दसवें भाव में रहेंगे। वैदिक ज्योतिष के अनुसार शनि मिथुन राशि के आठवें और नौवें भाव के स्वामी हैं। मिथुन राशि के स्वामी ग्रह बुध के साथ शनि की मित्रता होने के कारण यह गोचर आपके लिए लाभकारी रहने वाला है। आपको अपने करियर में सफलता मिलने के आसार हैं। आप कड़ी मेहनत करने के लिए दबाव महसूस कर सकते हैं और आपके ऊपर काम का बोझ भी बढ़ सकता है लेकिन दृढ़ता और परिश्रम से आपको सफलता मिलेगी।
आपके खर्चे कम और काम का भार बढ़ सकता है लेकिन इसके साथ ही यह भी ज़रूरी है कि आप अपने परिवार पर भी ध्यान दें। यदि आप व्यापार करते हैं, तो आपके लिए नीति और नियमों का पालना करना फायदेमंद सिद्ध होगा। इस समय आपका बिज़नेस उसी गति से बढ़ेगा, जिस रफ्तार से आप इसे बढ़ाने का प्रयास करेंगे।
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कर्क राशि
कर्क राशि के सातवें और आठवें भाव के स्वामी शनि देव हैं और अब वह आपके नौवें भाव में गोचर करने जा रहे हैं। शनि का मीन राशि में गोचर के अनुसार अब शनि का कंटक प्रभाव या सरल शब्दों में कहें तो इसका नकारात्मक प्रभाव नहीं पड़ेगा और काम में आ रही अड़चनें धीरे-धीरे दूर हो जाएंगी। कार्य से संबंधित यात्राएं लाभकारी रहेंगी और जीवनसाथी के साथ आपका रिश्ता पहले से बेहतर होगा। लंबी दूरी की यात्रा पर जाने से आप दोनों के बीच नज़दीकियां बढ़ सकती हैं। आपको इस समय अत्यधिक यात्रा करने का मौका मिलेगा और आप जल्दी धन अर्जित करेंगे। लंबे समय से अटके हुए धन के वापस मिलने की संभावना है।
शनि की आपके छठे भाव पर तीसरी दृष्टि पड़ रही है जिससे आपके शत्रु परास्त होंगे। आपकी आमदनी में बढ़ोतरी देखने को मिलेगी, आपकी इच्छाओं की पूर्ति होगी और आपको अप्रत्याशित वित्तीय लाभ मिल सकता है। इस समय आपको स्टॉक मार्केट में निवेश करने से भी मुनाफा होने के आसार हैं।
कुंभ राशि
कुंभ राशि के पहले और बारहवें भाव के स्वामी शनि देव हैं और अब शनि का मीन राशि में गोचर होने के दौरान वह आपके दूसरे भाव में रहेंगे जो कि परिवार, वाणी और आय से संबंधित है। यह अवधि धन को संचय करने के महत्व पर ज़ोर देगी। शनि का मीन राशि में गोचर के दौरान आपको धन की बचत कैसे करनी है और पैसों को ठीक से संभालने की सीख मिलेगी। बचन करने में सफलता पाने के लिए आपको कम प्रयास करने पड़ेंगे।
यदि आप विदेश में नौकरी करते हैं, मल्टीनेशनल कंपनी में काम करते हैं या फिर अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर ट्रेड करते हैं, तो इस गोचर के दौरान आपको शानदार सफलता मिलने के योग हैं। इसके साथ ही आपकी बचत में भी वृद्धि देखने को मिलेगी। परिवार के सदस्यों के साथ आपके रिश्ते बेहतर होंगे और रिश्तेदारों के बीच आपसी समझ बढ़ेगी। आपको प्रॉपर्टी से जुड़े लेन-देन से भी लाभ होने के आसार हैं।
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शनि का मीन राशि में गोचर: इन राशियों को होगा नुकसान
सिंह राशि
सिंह राशि के छठे और सातवें भाव के स्वामी शनि देव हैं और अब वह आपके आठवें भाव में गोचर करने जा रहे हैं। इससे कंटक शनि की ढैय्या के शुरू होने का संकेत मिलता है। शनि गोचर 2025 के दौरान आपके लिए अपनी सेहत का ख्याल रखना बहुत ज़रूरी है क्योंकि इस समय आपको कोई दीर्घकालिक समस्या घेर सकती है। मामूली स्वास्थ्य समस्याओं को भी बढ़ने या गंभीर रूप लेने से रोकने के लिए, उन्हें नज़रअंदाज़ करने से बचना चाहिए। इस समय आप अपना कर्ज़ चुकाने में असमर्थ हो सकते हैं और किसी भी ऋण को चुकाने के लिए कड़ी मेहनत करनी पड़ सकती है। बीमारियों या कानूनी मसलों की वजह से कोई बड़ा या अचानक से कोई खर्चा आ सकता है। हालांकि, आपको इन मुश्किलों से लड़ने के लिए ताकत भी मिलेगी।
धनु राशि
धनु राशि के दूसरे और तीसरे भाव के स्वामी शनि देव हैं और अब शनि गोचर 2025 के दौरान शनि इस राशि के चौथे भाव में रहेंगे। यह गोचर ढैय्या के शुरू होने के संकेत दे रहा है। आपको रोज़गार या अन्य किसी कारण से अपने परिवार से दूर जाना पड़ सकता है। आपको अपनी मां की सेहत का ख्याल रखने की सलाह दी जाती है।
कार्यक्षेत्र में सफलता पाने के लिए आपको अधिक प्रयास करने पड़ सकते हैं। आपको शनि का मीन राशि में गोचर होने के दौरान अपनी सेहत पर ध्यान देने की ज़रूरत है। अनुशासित जीवनशैली अपनाने से आप सफलता प्राप्त कर सकते हैं। वर्ष के उत्तरार्ध में अपनी मां की सेहत का ध्यान रखें और छाती में संक्रमण को अनदेखा न करें। हालांकि, शनि गोचर के बाद स्थिति में सुधार आने की उम्मीद है।
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शनि का मीन राशि में गोचर: उपाय
शनि गोचर 2025 के दौरान शनि देव को प्रसन्न करने के लिए आप निम्न उपाय कर सकते हैं:
- शनिवार के दिन व्रत रखें।
- शनि देव के मंदिर में सरसों का दीपक जलाएं।
- हर मंगलवार और शनिवार पीपल के पेड़ में जल चढ़ाएं।
- शिवलिंग पर दूध और काले तिल चढ़ाएं। इससे शनि के प्रकोप को कम करने में मदद मिलती है।
- शनि से सकारात्मक परिणाम पाने के लिए अपने कर्मों पर ध्यान दें और अच्छे कर्म करें।
- अपने सामर्थ्य के अनुसार दान करें।
- गरीब लोगों को खाना खिलाएं और फूड बैंक के साथ जुड़कर लोगों की सेवा करें।
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अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
उत्तर. मकर और कुंभ राशि के स्वामी शनि देव हैं।
उत्तर. सातवें भाव में।
उत्तर. तुला, शनि की उच्च राशि है।
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